Monday 6 January 2014

JANSAMPARK NEWS 6-1-14

जिला जनसंपर्क कार्यालय, बुरहानपुर मध्य प्रदेश
समाचार
टीएल
समय सीमा की बैठक संपन्न
मुख्यमंत्री हाथ ठेला योजना के अंतर्गत प्रकरण बनवायें
मानसिक स्वास्थ्य परीक्षण के प्रमाण पत्रों का करें वितरण 
जिले में चल रही रोजगारमूलक योजनाओं में लाये तेजी
बुरहानपुर -( 6 जनवरी 2014) - सोमवार को नवीन संयुक्त जिला कार्यालय में आयोजित सर्व कार्यालय प्रमुखों की बैठक में कलेक्टर श्री आशुतोष अवस्थी ने सर्वप्रथम पीजीआर और जनसुनवाई के प्रकरणों की समीक्षा करते हुए संबंधित विभाग प्रमुखों से प्रकरणों के त्वरित निराकरण करने के निर्देश दिये।
    समय सीमा की बैठक में कलेक्टर श्री आशुतोष अवस्थी ने उपसंचालक सामाजिक न्याय को 4 दिन के भीतर अभियान चलाकर मानसिक स्वास्थ्य परीक्षण के प्रमाण पत्र जारी करने के निर्देश दिये।
    समय सीमा की बैठक में कलेक्टर श्री आशुतोष अवस्थी ने प्रधानमंत्री सृजन कार्यक्रम योजना, मुख्यमंत्री कारीगर योजना, टंट्या भील स्वरोजगार योजना एवं मुख्यमंत्री युवा स्वरोजगार योजना सहित समस्त स्वरोजगार मूलक योजनाओं के अंतर्गत प्रकरण बनवानें के दोनों जनपदों के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि प्रकरण के लिये बैंकों से समन्वय बनाकर इन योजनाओं के प्रकरणों की स्वीकृति में तेजी लायें।
टंट््या भील योजना के प्रकरणो में लाये तेजीः- समय सीमा की बैठक में कलेक्टर श्री अवस्थी ने कार्यपालन अधिकारी अंत्यावसायी को मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग स्वरोजगार योजना, मुख्यमंत्री अल्पसंख्यक वर्ग योजना एवं टंट्या भील योजना के अंतर्गत प्रकरणों में तेजी लाने के निर्देश दिये। उन्होनें आदेश देते कहा कि वह जिला अग्रणी बैंक प्रबंधक एवं दोनों जनपदों के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों के साथ समन्वय बनाकर इस योजना के अंतर्गत प्रकरण बनवानें में तेजी लायें।
मुख्यमंत्री हाथ ठेला योजना के अंतर्गत बनाये प्रकरण:- समय सीमा की बैठक में कलेक्टर श्री अवस्थी ने आयुक्त नगर निगम को शासन की मुख्यमंत्री हाथ ठेला योजना के अंतर्गत प्रकरण बनवाने के निर्देश दिये। उन्होनें आदेश देते हुए कहा कि आयुक्त नगर निगम जिला अग्रणी बैंक प्रबंधक के साथ समन्वय बनाकर प्रकरण बनायें और इसे बैंकों के माध्यम से स्वीकृत करवायें।
समग्र पोर्टल पर एन्ट्री जल्द करें पूर्ण:- सर्व कार्यालय प्रमुखों की बैठक कलेक्टर श्री आशुतोष अवस्थी ने नगर निगम आयुक्त, दोनों जनपदों के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों एवं दोनो मुख्य नगर पालिका सीएमओ को सामाजिक सुरक्षा, वृद्धावस्था पेंशन योजना आदि योजनाओं का समग्र पोर्टल पर सत्यापन कर एन्ट्री अनिवार्यतः पूर्ण करने के निर्देश दियें।
सप्ताह में एक दिन अवश्य लगाये चौपाल:- बैठक में श्री अवस्थी ने तीनों तहसीलदारों को ग्रामों में सप्ताह में एक दिन चौपाल लगाने के निर्देश दिये। उन्होनें आदेश देते हुए कहा कि ग्रामीणों की समस्याओं को सुनें और उनका निराकरण त्वरित करें। साथ ही शासन की महत्वकांक्षी जनकल्याणकारी योजनाओं के बारे में भी जानकारी दें ताकि पात्र हितग्राहियों को इन योजनाओं का लाभ मिल सकें। 
आओं बनाये मध्य प्रदेश सम्मेलन के पूर्व तैयारी करें सभी अधिकारी:- बैठक में कलेक्टर श्री आशुतोष अवस्थी ने सभी अधिकारियों को निर्देश दिये है कि 5 जनवरी 2014 से आओ बनाएँ मध्यप्रदेश का सम्मेलन होना है। इन सम्मेलन में विभिन्न वर्गों की भागीदारी रहेगी। अतः इस सम्मेलन में समाज के अलग-अलग वर्गो की भागीदारी सुनिश्चित करें। इसमें प्रदर्शनीयां भी लगाई जायेगी। कार्यक्रम की तैयारियों अभी से प्रारंभ करना सुनिश्चित करें ताकि इस कार्यक्रम में विभागों में चल रही शासन की योजनाओं का लाभ अधिक से अधिक पात्र हितग्राहियों को मिल सकें।
    इसके साथ ही सर्व कार्यालय प्रमुखों की बैठक में कलेक्टर श्री आशुतोष अवस्थी ने जिले में संचालित सभी विभागों की योजनाओं की प्रगति की समीक्षा करते हुए उनमें तेजी लाने के निर्देश दिये।
वही बैठक में कलेक्टर श्री आशुतोष अवस्थी ने -
ऽ    दुग्ध संघ प्रबंधक को विकलांगों के लिये सांची पांईट चालू करने के।
ऽ    लोक सेवा गांरटी अधिनियम का सख्ती से पालन कर समय सीमा में सेवाओ के निराकरण के।
ऽ    जिला शिक्षा अधिकारी को प्रतिभा पर्व आयोजन के संबंध में।
ऽ    और पीजीआर व जनसुनवाई के प्रकरणों को तत्काल निराकरण करने निर्देश दिये। 
    बैठक में अपर कलेक्टर प्रकाश चन्द्र रेवाल, सीईओ जिला पंचायत सुरेश्वरसिंह, डिप्टी कलेक्टर के.एल.यादव, डिप्टी कलेक्टर शंकरलाल सिंगाडे, एसडीएम सूरज नागर और एसडीएम काशीराम बडोले समेत सभी जिला अधिकारी उपस्थित थे।
क्र-17/जनवरी/2014/17/वर्मा

कलेक्टर की अध्यक्षता में जिला टास्क फोर्स समिति की बैठक संपन्न
पल्स पोलियों अभियान में सक्रिय सहयोग की अपील
19 जनवरी 2014 को होगा प्रथम चरण
बुरहानपुर -( 6 जनवरी 2014) - राष्ट्रीय सघन पल्स पोलियो अभियान का प्रथम चरण 19 जनवरी 2014 को सम्पन्न होने जा रहा हैं। इस अवसर पर जन्म से लेकर 05 वर्ष तक के सभी बच्चों को पोलियों मुक्ति की दवा का सेवन कराया जायेगा। इस के लिये आज कलेक्टर कार्यालय में कलेक्टर श्री आषुतोष अवस्थी की अध्यक्षता जिला टास्क फोर्स समिति की बैठक का आयोजन किया गया। बैठक मंे सभी विभागीय अधिकारी उपस्थित थे। बैठक में विष्व स्वास्थ्य संगठन के एस.एम.ओ. डॉ. षेखावत सिंह ने पल्स पोलियो का पावर पॉईट प्रेजेन्टेषन दिया। डॉ. षेखावत ने बताया कि बुरहानपुर जिले में 0 से 5 वर्ष के कुल एक लाख 37 हजार 13 बच्चांे को (1,37,013) पोलियांे निरोधक दवा पिलाई जाना हैं जिसमें षहरी क्षेत्र मंे 247 टीकाकरण दल एवं ग्रामीण क्षेत्र मे 596 दल गठित किये गये हैं। अभियान के लिये कुल 2059 कर्मचारियों एवं 110 सुपरवाईजर को नियुक्त किया गया हैं। डॉ. षेखावत ने बताया कि पल्स पोलियो के सफल संचालन के लिये माइक्रो प्लान तैयार किया गया हैं। इस अभियान में घुम्मकड एवं माइग्रेषन पॉपुलेषन षतप्रतिषत कवर करने का लक्ष्य रखा गया हैं।
    बैठक मे उपस्थित सभी अधिकारियांे को संबोधित करते हुये कलेक्टर ने बताया कि जिलें के सभी नगरीय एवं ग्रामीण क्षेत्रों में हर माता-पिता नजदीकी पोलियों बूथ पर अपने बच्चों को पोलियो दवा की दो बंूद अवष्य पिलावायें इस हेतु हर विभाग का अधिकारी अपने स्तर पर प्रयास करेंगे।
    श्री अवस्थी ने सभी जनसाधारण, स्वयंसेवी संस्थायें/संगठन तथा स्थानीय जनप्रतिनिधि गण से अपील हैं कि इस अभियान को सफल बनाने मंे सक्रिय सहयोग प्रदान करेगें। कलेक्टर ने अपनी जारी अपील में उपरोक्त जन से आषा जताई हैं कि पोलियों अभियान में अपने क्षेत्र में आसपास, पड़ोस के रहने वाले 0 से 5 साल तक के बच्चों को पोलियों की खुराक पिलाने के लिये उनके माता-पिता को अभिप्रेरित करेंगे। साथ ही शत प्रतिषत बच्चों को पोलियों की खुराक पिलाने में भी भरपूर मदद करेगें। ताकी कोई भी बच्चा पोलियों की दवा पीने से वंचित न रहे पायें।
    बैठक मंे अपर कलेक्टर प्रकाश चन्द्र रेवाल, सीईओ जिला पंचायत सुरेश्वरसिंह, डिप्टी कलेक्टर के.एल.यादव, डिप्टी कलेक्टर शंकरलाल सिंगाडे, एसडीएम सूरज नागर, एसडीएम काशीराम बडोले, मुुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ.आई.एल.मेहरा, जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ.आर.वर्मा, डी.पी.एम पुनम डेहरिया, रविन्द्र सिंह राजपूत समेत अन्य विभागो के अधिकारी उपस्थित थे।
क्र-18/जनवरी/2014/18/वर्मा


मनरेगा कन्वर्जेंस से बनेंगे आँगनवाड़ी भवन
हेण्ड-पम्प और बाउण्ड्री-वॉल का भी प्रावधान
बुरहानपुर- (06 जनवरी 2014) - प्रदेश के ग्रामीण अंचलों के समग्र विकास के उद्देश्य से जिन ग्राम-पंचायतों में पक्के आँगनवाड़ी भवन नहीं हैं या जहाँ आँगनवाड़ी किराये के भवन में संचालित है, वहाँ 7 लाख 80 हजार की लागत वाले नये आँगनवाड़ी भवन का निर्माण मनरेगा कन्वर्जेंस से करवाया जायेगा। पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग ने इस उद्देश्य से विस्तृत दिशा-निर्देश सभी जिला कलेक्टर तथा जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को भेजे हैं। केन्द्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय एवं महिला-बाल विकास की सहमति के परिप्रेक्ष्य में आँगनवाड़ी केन्द्रों के निर्माण में मनरेगा राशि के साथ-साथ बीआरजीएफ, एकीकृत विकास कार्यक्रम (आईएपी) तथा महिला-बाल विकास मद से भी कन्वर्जेंस हो सकेगा।
महिला-बाल विकास विभाग के जिला कार्यालय द्वारा आँगनवाड़ी भवन के निर्माण के लिये जनपद, ग्राम-पंचायत और जिला पंचायतवार प्रस्ताव तैयार किये जायेंगे। जिला पंचायत आँगनवाड़ी केन्द्रों की सूची तथा निर्माण प्रस्ताव संबंधित जनपद पंचायतों के माध्यम से ग्राम-पंचायतों को भेजेंगी। ग्राम-पंचायत द्वारा भवनों के लिये 40×50 वर्ग फीट शासकीय भूमि की उपलब्धता सुनिश्चित की जायेगी। इसमें बाउण्ड्री-वॉल तथा हेण्ड-पम्प की स्थापना का प्रावधान भी होगा। यदि आँगनवाड़ी भवन किसी ऐसे स्कूल भवन में निर्मित किया जाना प्रस्तावित हो, जहाँ हेण्ड-पम्प और बाउण्ड्री-वॉल की व्यवस्था पहले से हो तो वहाँ 25×25 वर्ग फीट भूमि चिन्हित की जायेगी। केन्द्र की लागत 5.83 लाख और भवन की सुरक्षा के लिये बनाई जाने वाली बाउण्ड्री-वॉल तथा पेयजल व्यवस्था के लिये स्थापित हेण्ड-पम्प की लागत 1.97 लाख रुपये निर्धारित रहेगी। आँगनवाड़ी भवन में एक हॉल, किचन, स्टोर, बराण्डा एवं टॉयलेट बनाया जायेगा। भवन का कुल निर्मित क्षेत्रफल 625 वर्ग फीट होगा। आँगनवाड़ी भवन निर्माण के प्रस्ताव पर ग्रामसभा का अनुमोदन भी लिया जायेगा और मनरेगा प्रावधानों के अनुसार त्रि-स्तरीय पंचायत राज संस्थाओं का अनुमोदन भी प्राप्त कर शेल्फ ऑफ प्रोजेक्ट तथा वार्षिक कार्य-योजना में शामिल किया जायेगा।
भवनों के निर्माण के लिये प्राक्कलन के साथ तकनीकी प्रतिवेदन भी ग्रामीण यांत्रिकी सेवा के उप यंत्री द्वारा तैयार किये जायेंगे। इसमें आँगनवाड़ी केन्द्र से लाभान्वित परिवारों और उनके बच्चों की संख्या तथा बच्चों की देखभाल की वजह से संबंधित परिवार के सदस्यों को अपनी आजीविका सुदृढ़ करने के लिये समय की बचत का उल्लेख भी होगा। आँगनवाड़ी भवनों के निर्माण में अकुशल श्रम का कार्य मनरेगा जॉब-कार्डधारी परिवारों से ही करवाया जाना आवश्यक होगा और ठेका पद्धति प्रतिबंधित रहेगी। मानव श्रम के बदले खुदाई कार्य में प्रयुक्त होने वाली जेसीबी मशीनों का प्रयोग भी प्रतिबंधित होगा। निर्माण सामग्री का क्रय पंचायत में लागू भण्डार क्रय नियमों के अनुसार पारदर्शी प्रक्रिया अपनाकर किया जायेगा। मजदूरी एवं सामग्री का भुगतान इलेक्ट्रॉनिक फण्ड मैनेजमेंट सिस्टम (ईएफएमएस) के माध्यम से किया जायेगा तथा रोजगार सृजन का पूरा रिकार्ड रखा जायेगा। आँगनवाड़ी निर्माण का कार्य सामग्रीमूलक होने से इस कार्य में मजदूरी-सामग्री अनुपात सामान्यतरू 15रू85 होगा। यदि मनरेगा मद से निर्माण पर 4.50 लाख की राशि व्यय होगी तो ऐसी स्थिति में ग्राम पंचायत-स्तर पर 60रू40 का अनुपात संधारित करना होगा। क्रियान्वयन एजेंसी द्वारा ग्रामसभा में प्रत्येक कार्य का सामाजिक अंकेक्षण करवाया जायेगा। ग्राम-स्तरीय सतर्कता एवं मूल्यांकन समिति कार्यों का भौतिक सत्यापन करेगी। राज्य-स्तरीय एवं जिला-स्तरीय क्वालिटी मॉनीटर तथा ग्रामीण यांत्रिकी सेवा के कार्यपालन यंत्री भी समय-समय पर निर्माण कार्यों की गुणवत्ता का निरीक्षण करेंगे।
क्र-19/जनवरी/2014/19/वर्मा



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JANSAMPARK NEWS 30-08-18

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